Dhanbad : झारखंड में सीएम सहित सभी मंत्रियों ने भी शपथ ले ली है. मंत्रियों के बीच विभागों का भी बंटवारा कर दिया गया है. इस बार झारखंड के स्वास्थ्य मंत्रालय का जिम्मा जामताड़ा विधायक व मंत्री डॉ इरफान अंसारी को सौंपी गई है. हालांकि इरफान अंसारी ने अब तक पदभार ग्रहण नहीं किया है वे कल यानी सोमवार को अपना पद ग्रहण करेंगे लेकिन मंत्री इरफान अंसारी उससे पहले ही एक्शन मोड में नजर आ रहे हैं. इरफान अंसारी ने धनबाद में राज्य के अस्पतालों को लेकर बड़ी बात कह दी है.
मंत्री बनने के बाद डॉ इरफान अंसारी धनबाद के गोविंदपुर पर पहुंचे ,फकीरडीह चौक पर उनका भव्य स्वागत किया गया.इसी दौरान डॉ इरफान अंसारी ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह से सुस्त पड़ा है. जहां जान-माल की सुरक्षा नहीं है, जहां स्वास्थ्य की रक्षा नहीं है और स्वास्थ्य को व्यवसाय के रूप में देखा जाता है, यह ठीक नहीं है. निजी अस्पतालों ने सारे मापदंड बिगाड़ दिए हैं. आयुष्मान के मापदंड की प्रक्रिया हर हाल में पूरी करनी होगी. लोग स्वास्थ्य के साथ व्यवसाय करने लगे हैं. इस पर रोक लगाऊंगा.
निजी अस्पतालों के मनमाने रवैये पर लगेगी
उन्होंने कहा कि निजी अस्पतालों के मनमाने रवैये पर लगाम लगाने का काम किया जायेगा। इरफान ने कहा कि राज्य की स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह से सुस्त है, जहां जान-माल की सुरक्षा नहीं है, जहां स्वास्थ्य की रक्षा नहीं है और स्वास्थ्य को व्यवसाय के रूप में देखा जाता है, यह ठीक नहीं है। उन्होंने कहा कि निजी अस्पतालों ने सारे मापदंड बिगाड़ दिए हैं। आयुष्मान के मापदंड की प्रक्रिया हर हाल में पूरी करनी होगी। लोग स्वास्थ्य के साथ व्यवसाय करने लगे हैं, इस पर रोक लगाएंगे।
उन्होंने कहा कि प्राइवेट हास्पिटल के संचालक दो कमरा किराये पर लेकर अधिकारियों को रिश्वत देकर आयुष्मान की मान्यता ले लेते हैं। उनका एकमात्र मकसद गरीबों के पैसे को लूटना है, उनका इलाज नहीं करना है। मंत्री डॉ इरफान अंसारी ने कहा कि वो ऐसे मामलों में काफी सख्त हैं, आयुष्मान कार्ड वाले मरीजों का इलाज करने वाले सभी निजी अस्पतालों की उच्चस्तरीय जांच कराई जाएगी। जांच में दोषी पाए जाने वालों पर सख्त कार्रवाई भी की जाएगी। मापदंड प्रक्रिया में थोड़ी सी भी गलती पाए जाने पर न सिर्फ अस्पताल को सील किया जाएगा, बल्कि उसके मालिक को भी जेल होगी।
नुकसान का वहन स्वास्थ्य विभाग की ओर से किया जाएगा
विभाग की ओर से डीसी और एसपी को पत्र भेजा जाएगा। निजी अस्पताल को चाहे जितना भी नुकसान हो, उसे वहन करना होगा। हम इसे कभी बर्दाश्त नहीं करेंगे की कोई भी अस्पताल बिल के लिए किसी मरीज का शव अपने पास रख कर परिजनों को परेशान कर रहा है। उन्होंने कहा कि सरकारी अस्पताल पहुंचने वाले मरीजों को हर तरह की सुविधा मुहैया कराई जाएगी।
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