चतरा : टंडवा आम्रपाली कोल परियोजना से टंडवा एनटीपीसी बिजली प्लांट के लिए कोल ढुलाई कर रही नकाश कोल ट्रांसपोर्टिंग कंपनी की माननी से भी बिंगलात,उड़सू व आमरहगीरों के लिए बना है संकट,कोयले की गिरते हीं रास्ते में उड़ते हैं धूल, दुर्घटनाएं की रहती है शंका। वही धूलकणों की उड़ते धूलकणों को खाने के लिए मजबूर हैं स्थानीय ग्रामीण जनता।
नकाश कोल ट्रांसपोर्टिंग कोल ढुलाई कर कमाई कर रहा करोड़ो- करोड़ रुपये की, स्थानीय ग्रामीण जनता को फायदे के रूप में मिला रहा है धूलकणों की ज़हर,वही कोयले की ज़हर से स्वास्थ्य पर पड़ने वाले प्रभाव में लंबे समय तक सांस लेने योग्य कोयले की धूल और सांस लेने योग्य क्रिस्टलीय सिलिका धूल के संपर्क में रहने से धूल से संबंधित फेफड़ों की बीमारी होती है। जैसे न्यूमोकोनियोसिस प्रगतिशील रोग हैं, जिसका अर्थ है कि वे समय के साथ खराब हो सकते हैं।
जिसके इलाज करने के लिए भी स्थानीय ग्रामीण जनता ख़ुद की मेहनत की कमाई से करवाने के लिए हैं मजबूर।आख़िर कौन है संमल? जो नकाश कोल ट्रांसपोर्टिंग की मास्टरमाइंड तथा ग्रमीणों व राहगीरों को आवगमन करने में भी कर रहा शोषण, नियमों को अनदेखी कर हाइवे वाहनों से कोल ट्रांसपोर्टिंग बेधड़क किया जा रहा है।अगर बात किया जाय तो टंडवा प्रखंड अंतर्गत आमग्रमीणों से लेकर राहगीरों के लिये हाइवे वाहन जमदूत के रूप में इंतजार कर रहे हैं जो किसी भी या कोई भी या कभी भी या कहीं भी टंडवा के अंतर्गत मौत का आमंत्रण दे रहा है। जिस पर बड़े नेताओं का खामोशी भी व अधिकारियों के उदासीनता के कारण रोज कोई ना कोई दुर्घटनाएं का शिकार होते आ रहे हैं।
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